हल्द्वानी। सरकारी जमीनों को खुर्द-बुर्द करने वाले लोगों के प्रति जिला प्रशासन ने सख्त रवैया अपनाया है। जिलाधिकारी श्री सविन बंसल ने कहा है कि सरकारी भूमि को खुर्दु -बुर्द करने वाले से सख्ती के साथ निपटा जायेगा तथा नियमानुसार दण्डात्मक कार्यवाही भी की जायेगी। जिलाधिकारी ने कहा है कि भूमि क्रय करने से पहले यह अवश्य देख लें कि जो भूमि आप क्रय कर रहे है वह कही सरकारी तो नही हैै। सरकारी भूमि खरीदना एवं बेचना दोनों ही अपराध की श्रेणी में आते है ऐसे मे खरीदने व बेचने वाले दोनो के खिलाफ कार्यवाही की जायेगी। जमीन खुर्दबुर्द का एक मामला जिलाधिकारी के संज्ञान मे आया जिसे गम्भीरता से लेते हुये उन्होने अपर जिलाधिकारी प्रशासन कैलाश टोलिया की अध्यक्षता में जांच समिति गठित की, जिसमे उपजिलाधिकारी हल्द्वानी विवेक राय को भी बतौर सदस्य रखा गया। अपर जिलाधिकारी ने जमीन खुर्दबुर्द करने वाले डीसी हैरिस पुत्र बीसी हैरिस निवासी सखावतगंज मल्ला गोरखपुर तहसील हल्द्वानी द्वारा हल्द्वानी में धोखा-धड़ी करने की पुष्टि हुई। समिति की रिपोर्ट पर जिलाधिकारी ने उपजिलाधिकारी हल्द्वानी को सुसंगत धाराओं में विक्रेता डीसी हैरिस तथा के्रेता राकेश कुमार अग्रवाल पुत्र जगदीश प्रसाद अग्रवाल, स्मिता सिंघल पत्नी प्रवीण सिंघल तथा प्रवीण कुमार सिंघल पुत्र इन्द्र प्रकाश सिंघल के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के आदेश जारी किये हैं। गौरतलब है कि डीसी हैरिस द्वारा 03 अंतरण विलेख के जरिये तहसील हल्द्वानी की ग्राम हल्द्वानी खास नाॅन ज्येड ए के खेवट संख्या-01खाम स्टेट की खाता संख्या-12 खसरा संख्या-434, वर्ग 15(2) स्थल सड़कंे रेलवे भवन और ऐसी दूसरी भूमियाॅ जो अकृषक उपयोग के भूमि को विक्रय कर धोखा-धड़ी की गई तथा राज्य सरकार की सम्पत्ति को खुर्द-बुर्द कर अपराध किया गया है। डीसी हैरिस द्वारा उक्त भूमि को राकेश कुमार अग्रवाल पुत्र जगदीश प्रसाद अग्रवाल, स्मिता सिंघल पत्नी प्रवीण सिंघल तथा प्रवीण कुमार सिंघल पुत्र इन्द्र प्रकाश सिंघल को तीन पृथक-पृथक रजिस्ट्री बैनाम जो उप निबंधक हल्द्वानी में पंजीकृत के माध्यम से विक्रय की गई है। के्रता गणों का भी दायित्व था कि क्रेता सावधान नियम के तहत विके्रता के विधिक अधिकार, क्रय की जाने वाली भूमि पर उन्हे प्राप्त होने वाले अधिकारों के संबंध में विधिक स्थिति से संतुष्ट होने के उपरान्त भूमि क्रय की जाती, जो कि उनके द्वारा नहीं किया गया। इससे स्पष्ट है कि राज्य सरकार के साथ की गयी धोखा-धड़ी में क्रेता पक्ष भी सम्मिलित है तथा के्रता पक्ष द्वारा बिना अधिकार के सम्पादित कराये गये विलेख पत्र से संबंधित भूमि पर निर्माण प्रारम्भ करके भूमि को खुर्द-बुर्द करने का अपराध किया गया है। जिस हेतु विके्रता एंव के्रतागणों के द्वारा बिना अधिकार के राज्य सरकार की भूमि का क्रय विक्रय कर की गयी धोखा-धड़ी, राज्य सरकार की भूमि पर अनाधिकार किये गये कब्जे व निर्माण के द्वारा पहुंचाये गये नुकसान संबंधी किये गये अपराध के संबंध में गठित जांच समिति की अनुशंसा पर राजस्व उपनिरीक्षक ने कोतवाली हल्द्वानी में विक्रेता व के्रताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई।
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